राष्ट्रीय युवा दिवस 2021 – निबंध, शायरी, कविता, लेख
राष्ट्रीय युवा दिवस 2021: इस लेख में 12 जनवरी यानि ” राष्ट्रिय युवा दिवस की जानकारी दी गयी है. आपको यहाँ से speech on yuva diwas in hindi – राष्ट्रिय युवा दिवस पर भाषण, Rashtriy Yuva Diwas Par Shayari Quotes In Hindi, English, Gujarati, Marathi में पढ़ पाएंगे. essay on national youth day in hindi – युवा दिवस पर निबंध हिंदी में, युवा दिवस पर कविता पढ़ पाएंगे. साथ में आप इसे whatsapp, facebook, twitter पर शेयर कर पाएंगे.
युवा दिवस यानी कि स्वामी विवेकानंद का जन्मदिवस। युवा के लिए प्रेरणा स्रोत रहे स्वामी विवेकानंद का जन्म 12 जनवरी १८६३ को हुआ था, इसलिए हम प्रतिवर्ष इस दिन को “राष्ट्रीय युवा दिवस” के रूप में मनाते आए है।वैसे कहा जाए तो आधुनिक भारत के दृष्टा स्वामी विवेकानंद का जीवन ऐसा है कि हमारे देश के युवा को सबसे ज्यादा प्रभावित करता है।
स्वामी विवेकानंद अपने विचार और आदर्शों के लिए पूरी दुनिया में जाने जाते है। अध्यात्मिकता और भारतीय संस्कृति में उनके द्वारा दिया योगदान सबसे श्रेष्ठ माना जाता है। दुनिया में धार्मिक दृष्टि से भी उनके विचारों को एक अलग ही पहचान मिली हुई है।
विश्व युवा दिवस कब मनाया जाता है?
वर्ष 1984 में सबसे पहले भारतीय सरकार द्वारा स्वामी विवेकानंद की जन्मदिन को युवा दिन के रूप में घोषित किया गया था। तब से लेकर आज तक 12 जनवरी को प्रति वर्ष राष्ट्रिय युवा दिन के रूप में मनाया जाता है. स्वामी विवेकानंद का जीवन दर्शन और उनके आदर्श से युवाओं को प्रेरित करने के लिए इस दिन का महत्व दिया गया है. किसी भी राष्ट्र को देश के भविष्य को बेहतर बनाना है तो युवाओं को सबसे ज्यादा सक्षम बनाना होगा और इस लक्ष्य को पूरा करने में युवा दिवस एक अग्रिम भूमिका अदा करता है।
पूरे विश्व को संदेश देने वाले स्वामी विवेकानंद के आदर्श और विचारों का आज भी इतना ही मूल्य है। भारत को विकसित देश बनाने के लिए युवाओं के उन्नत ऊर्जा को जागृत करने के लिए यह दिन है। स्वामी विवेकानंद द्वारा दी गई विचारधारा को फैलाने का यह दिन है।
युवा दिवस पर भाषण – स्पीच हिंदी में

Speech on Yuva Diwas in hindi
वैसे तो युवा शब्द का उम्र के साथ संबंध है लेकिन जैसे ही हम युवा शब्दों को सुनते हैं हमारे मन में उत्साह, स्फूर्ति, सक्रियता, आदि गुण जागृत हो जाते हैं। इस तरह से देखा जाए तो युवा शब्द वो है जो शारीरिक नहीं लेकिन मानसिक व्यक्तित्व को प्रेरित करता है। विवेकानंद ने अपने जीवन के कुछ ही वर्षों में ऐसे कार्य करके दिखाए थे जिसे पढ़े तो विवेकानंद आज भी सबसे बड़े युवा दृश्य मान होते हैं।
युवा हमारे देश की वह पीढ़ी है जिसके मजबूत कंधों पर ही देश का भविष्य टिका है। अगर हमारे देश का युवा कमजोर हैं तो इसका सीधा मतलब हमारे राष्ट्र का भविष्य अंधकारमय हो सकता है। लेकिन आज समय बदल गया भारत के युवा ना कमजोर है ना दिन है और ना ही भ्रमित है। उसके पास अपना एक विजन है अपना एक लक्ष्य है और इसे पाने के लिए वह किसी भी हद तक जा सकता है.
इसी कारण कोई भी क्षेत्र हो हमारे युवाओं ने अपना नाम रोशन किया। चाहे वह रमत का मैदान हो, चाहे वह भारत की बॉर्डर की सुरक्षा हो। राजनीति हो या फिर फिल्म जगत हो, सभी जगह युवा अपने आप को श्रेष्ठ साबित करने में सफल हुए हैं। सभी क्षेत्रों में युवा अपने राज्य का, देश का नाम रोशन करने के साथ-साथ दुनिया में भी अपने नाम का डंका बजाने में माहिर हो गए हैं।
जब हम 12 जनवरी को राष्ट्रीय युवा दिन के रूप में मनाते हैं तब सबसे ज्यादा युवाओं को प्रेरित करने का काम होता है। स्वामी विवेकानंद जी युवाओं को देश का महत्वपूर्ण अंग मानते थे. हर देश का आधार मानते थे। विवेकानंद का जीवन ही ऐसे व्यतित हुआ था की उनके सभी प्रसंग में युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत मिलता रहता है. उनके द्वारा कहे गए शब्द आज भी युवाओं में जोश भर देते हैं जैसे कि
महसूस करो कि तुम महान हो और तुम महान बन जाओगे – स्वामी विवेकानंद
उठो जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति ना हो – स्वामी विवेकानंद
युवाओं के सबसे प्रिय पात्र और प्रेरणा स्रोत विवेकानंद से बढ़कर और कोई नहीं हो सकता है. विवेकानंद ने अपने जीवन से वह ऊर्जा दी है जो आज भी भारतीय संस्कृति का प्रतिनिधित्व करती है। स्वामी विवेकानंद जी ने जो कुछ लिखा है आज भी इतना ही प्रस्तुत है।
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राष्ट्रीय युवा दिवस पर निबंध
हमको मिटा सके यह जमाने में दम नहीं
हमसे जमाना खुद है जमाने से हम नहीं
जैसे रीड की हड्डी के बिना हमारा शरीर सीधा खड़ा नहीं रह सकता, वैसे ही सशक्त युवा के बिना हमारे देश का विकास नहीं हो सकता। युवाओं में संकटों का सामना करने की ताकत होती है किसी भी परिणाम तक पहुंचने का जज्बा होता है।
युवाओं को अगर ज्यादा से ज्यादा जागृत एवं चेतन बनाना है और देश के भविष्य को उज्जवल बनाना है तो देश का सबसे पहला कर्तव्य की युवाओं को शसक्त बनाना जरूरी है। और यह काम स्वामी विवेकानंद का जन्म दिवस यानी युवा दिवस प्रेरणा देता है. युवाओं को एक नई दिशा देने का काम, युवाओं में नया जोश भरने का काम करता है।
कई युवाओं के मन में यह भी सवाल आता होगा कि आखिर स्वामी विवेकानंद के जन्म दिवस पर ही राष्ट्रीय युवा दिवस क्यों मनाया जाता है? क्या और कोई दूसरा चरित्र नहीं था? क्या और कोई आदर्श व्यक्तित्व नहीं था?
युवा दिवस क्यों मनाया जाता है?
इसके जवाब के लिए आपको युवा का अर्थ समझना पड़ेगा. जोश, शक्ति, साहस आदि युवा के चरित्र में होना चाहिए। युवा शब्द को समझने के लिए उसे कुछ देर उल्टा कर दीजिए। शब्द होता है वायु। वायु का अर्थ प्रकृति का एक बहाव जिसे हवा भी कहा जाता है. जिसका काम है जब चाहे, जहां चाहे, बह जाना. युवा का स्वभाव वायु जैसा होता है लेकिन हवा का स्वभाव ये भी होता है कि किसी से भी टकराना। लहरों के साथ तैरना आसान होता है लेकिन सबसे बड़ा योद्धा तो वह है जो लहरों से विपरीत दिशा में तैर जाए।
स्वामी विवेकानंद का जीवन भी कुछ ऐसा ही था. जिस उम्र में आज के युवा सुंदर नारी के सपने देखना, सिगरेट के धुए उड़ाना, किसी की बातों में बह जाना, नशे में चूर होना, कमजोर होना, धमकाना, अश्लील का फैलाना जैसे कार्यों में अपने जीवन को गँवा रहे होते हैं. इससे विपरीत इस उम्र में स्वामी विवेकानंद ने अपना सर्वस्व धर्म, सेवा, आध्यात्मिकता, अस्मिता, भारतीय संस्कृति, साधना के लिए समर्पित कर दिया था.
अपने कर्मों से इस कर्मयोगी ने ऐसी तूफानी लहरें उठाई जिससे सारा विश्व प्रभावित हुआ. इसलिए आज के समय में स्वामी विवेकानंद का जीवन युवाओं को सबसे ज्यादा प्रभावित करने वाला है. इसलिए ही उनके जन्मदिन को युवा दिन के रूप में मनाने का सबसे बड़ा औचित्य है।
आज का भारत एक युवा राष्ट्र है। भारत के विकास का सारा दारोमदार युवाओं पर स्थित है। भारत में लगभग 65% से भी ज्यादा युवा आज है। अगर ये सभी युवा देश के विकास के लिए, देश की सुरक्षा के लिए, प्रदेश के उज्जवल भविष्य के लिए सिर्फ एक ही कदम उठाएंगे तो एक साथ कितने कदम भरत आगे बढ़ेगा? सोचो।
अगर भारत को दुनिया में महाशक्ति के रूप में स्थित करना है तो सबसे से अच्छा वक्त अभी चल रहा है। हमारी इस युवा शक्ति की ताकत से विश्व के सभी राष्ट्र भी प्रभावित रहे हैं।
लेकिन क्या आज की परिस्थिति में हमें लगता है कि आज के युवाओं में विवेकानंद जैसी वो ताकत आज भी है। क्योंकि परिस्थिति कुछ विपरीत भी बता रही है। दुर्भाग्यपूर्ण है लेकिन बताना पड़ेगा कि कुछ युवा आज नशे की चुल्लू भर पानी में डूबता नजर आता है, सिगरेट के धुए उड़ाता हुआ, गाली गलौज करता हुआ, किसी कमजोर को डराता धमकाता हुआ और अश्लीलता फैलाता हुआ नजर आता है।
लगता है कुछ युवाओं का भ्रम फैलाना और दूसरों की बातों में बह जाना एक दूषण सा हो गया है। इस दिशाहीन युवा धन को आवश्यकता है स्वामी विवेकानंद के विचारों की, मार्गदर्शन की। विवेकानंद ने अपने कर्म, धर्म, वाणी से इस सभी बातें बताइ है. युवाओं के लिए लक्ष्य निर्धारित करके उन्नत शिखर तक पहुंचने का रास्ता बताया है।
स्वामी विवेकानंद को याद किया जाना सही मायनों में भारत की युवा तेजस्विता, भारतबोध और भारत के बहाने विश्व को सुखी बनाने के विचार को प्रेरित करना है। उनकी याद एक ऐसे नायक की याद है जिसने विश्व मानवता के सुख के सूत्र खोजे। जिसने स्वीकार्यता को, आत्मीयता को, विश्व बंधुत्व को वास्तविक धर्म से जोड़ा। जिसने सेवा के संस्कार को धर्म के मुख्य विचार के रूप में स्थापित किया। जिसने किताबों में पड़े कठिन अधात्म को जनता के सरोकारों से जोड़ा।
आशा करते हैं विवेकानंद के जीवन दर्शन से मिलने वाला अमृत रस आज के युवा भी ग्रहण करें और भारत के विकास में, भारतीय संस्कृति की अस्मिता के लिए अपना यथा योग्य प्रदान करें. ताकि हमारा देश दुनिया में अपना नाम रोशन कर सकें और हमारी भारतीय संस्कृति की धरोहर को कोई आंच ना आए।
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राष्ट्रीय युवा दिवस पर शायरी
राष्ट्रीय युवा दिवस की शुभकामनाएँ
युवा दिवस तालियों से नहीं, बहुत हौशलों से मनाओ |
जीवन सम्हालने की एक, जीवन में नया रह बनाओ |
युवा दिवस की हार्दिक शुभकामनाये
तुम में भी वो शक्ति हैं, अपने आप को जगाओ,
जागो मेरे संगी साथी, जागो हर एक देशवासी।।
जाग युवा जाग कि तेरे जागने से देश जगेगा
देश जगेगा और हर क्षेत्र में विकास करेगा,
भ्रष्टाचार और दुराचार का अंधियारा छंटेगा,
भारतीय संस्कृति और सभ्यता का सूरज
सारे संसार को आलोकित करेगा,
Happy National youth day
बारे दुनिया में रहो ग़म-ज़दा या शाद रहो
ऐसा कुछ कर के चलो याँ कि बहुत याद रहो
– मीर तक़ी मीर
2021_Status_Video">बात देश की आती है तो हम क्यूँ पीछे हट जाते है
युवाओं की परिभाषा में ही क्यूँ हम बँध जाते हैं
क्या कोई उम्र चाहिए तुम्हें सच में इस देश की सेवा करने को
तो फिर किसके इंतज़ार में हम बैठे वक़्त गवाते हैं
हर कोई यहाँ युवा है तो चलो अपने देश का भार उठाते हैं
अंतरराष्ट्रीय युवा दिवस 2021 Status Video
रूख बदलेंगी हवाएँ भी बस तेरे हुंकार करने से
पत्थर दिल भी पिघलेगा सिर्फ़ तेरे प्यार करने से
तेरे जोश और जुनून की ही तो है सब मुनादी
क्या है हाँसिल ओरों के भरोसे इंतज़ार करने से
स्वामी विवेकानंद का कहना था 21वीं सदी हिन्दुस्तान की होगी
और आज भारत दुनिया का सबसे युवा देश है
तो हम युवाओं को आगे बढ़ कर
उनकी सोच का भारत बनाने का प्रयास करना चाहिए …
आप सभी को युवा दिवस की शुभकामनाये !”
राष्ट्रीय युवा दिवस पर कविता
आज दीवारों पर लिखे हैं, सैकड़ों नारे न देख
घर अंधेरा देख तू,आकाश के तारे न देख
बेसहारे भी नहीं अब जंग लड़नी है तुझे,
कट चुके जो हाथ,उन हाथों में तलवारें न देख
एक दरिया सा यहां है, दूर तक फैला हुआ
आज अपने बाजुओं को देख, पतवारें न देख
– दुष्यंत कुमार
युवा होने का मतलब’
नवभारत का निर्माता हैं,युवा
राष्ट्र का रक्षक हैं, युवा
राष्ट्र का भविष्य हैं,युवा
देश का सिरमौर हैं,युवा
राष्ट्र का विकास हैं, युवा,
राष्ट्र का स्तंभ हैं,युवा..
देश की आन, बान, शान, हैं, युवा
राष्ट्र की पहचान हैं, युवा
राष्ट्र का स्वाभिमान हैं, युवा
और राष्ट्र का गान हैं, युवा
वीर शिवा की तलवार हैं, युवा…
महाराणा का कवच हैं,युवा
शेरों की दहाड़ हैं, युवा
शब्दों में अंगार हैं,युवा
गद्दारों का काल हैं,युवा
माँ भारती की पुकार हैं,युवा
‘भारत का विवेकानंद हैं, युवा..’
इसलिए ही तो, महान, बेमिसाल हैं,युवा.!
कैसे कहूँ तुम युवा हो ?
क्या कर गए हो ?
क्यों डर गए हो ?
तुम कायरता से भर गए हो,
जला कर अपनी छमताओं को,
तुम पहचान अपनी खत्म कर गए हो,
कैसे कहूँ तुम युवा हो ?
कमज़ोर किया अपनी मानवता को,
गिरा दिया स्वाभिमान को,
कैसे कहूँ तुम युवा हो ?
क्यों आलस को अपनाया तुमने,
खो दिया पहचान को,
कैसे कहूँ तुम युवा हो ?
करते तुम काम कोई,
पाते नया मुकाम कोई,
देता तुम्हे बड़ा नाम कोई,
मैं कह देता तुम युवा हो ।
छोड़ कर अपना आलस्य,
तोड़ते तुम चट्टान कोई,
मैं कह देता तुम युवा हो ।
लिखी युवा की जो परिभाषा है,
कायरता ने इस समाज में,
बदल दो उसको एक झटके में,
मैं कह दूँगा तुम युवा हो ।